Meri Sun Le Araj

Kavi Pradeep

मेरी सुन ले अरज बनवारी, मेरी सुन ले अरज बनवारी
तेरे द्वार खड़ी दुखियारी, तेरे द्वार खड़ी दुखियारी
मेरी सुन ले अरज बनवारी, मेरी सुन ले अरज बनवारी
तेरे द्वार खड़ी दुखियारी, तेरे द्वार खड़ी दुखियारी

आर ना सुझे पार ना सुझे, अब कोई दूजा द्वार ना सुझे
आर ना सुझे पार ना सुझे, अब कोई दूजा द्वार ना सुझे
कोंन ठिकाने जाऊ प्रभु मैं ,छोड के शरण तिहारी
छोड के शरण तिहारी
तेरे द्वार खड़ी दुखियारी, तेरे द्वार खड़ी दुखियारी
मेरी सुन ले अरज बनवारी, मेरी सुन ले अरज बनवारी
तेरे द्वार खड़ी दुखियारी, तेरे द्वार खड़ी दुखियारी
छिन गया मेरे हाथ का मोती, खो गई इन नयनन की ज्योति
छिन गया मेरे हाथ का मोती, खो गई इन नयनन की ज्योति
तेरे जगत मे भटक रही हू, मैं ममता की मारी
मैं ममता की मारी
तेरे द्वार खड़ी दुखियारी, तेरे द्वार खड़ी दुखियारी
मेरी सुन ले अरज बनवारी, मेरी सुन ले अरज बनवारी
तेरे द्वार खड़ी दुखियारी, तेरे द्वार खड़ी दुखियारी

Trivia about the song Meri Sun Le Araj by Sadhana Sargam

Who composed the song “Meri Sun Le Araj” by Sadhana Sargam?
The song “Meri Sun Le Araj” by Sadhana Sargam was composed by Kavi Pradeep.

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