Do Dil Bichhad Ke
दो दिल बिछड़ के रह गये मजबूर हो गये
दो दिल बिछड़ के रह गये मजबूर हो गये
गम की चली है आँधियाँ गम की चली है आँधियाँ
गम की चली है आँधियाँ हम दूर हो गये
दो दिल बिछड़ के रह गये मजबूर हो गये
मौजो मे डूबती हूँ सहारा नही मिला
कश्ती को मेरी कोई किनारा नही मिला
मौजो मे डूबती हूँ सहारा नही मिला
कश्ती को मेरी कोई किनारा नही मिला
ऐसी लगी है चोट के हम चूर हो गये
दो दिल बिछड़ के रह गये मजबूर हो गये
कहे जा के किससे हम गम का फसाना
मिलने ना देगा हमे दुश्मन ज़माना
कहे जा के किससे हम गम का फसाना
मिलने ना देगा हमे दुश्मन ज़माना
अपने भी आज देखिए मगरूर हो गये
दो दिल बिछड़ के रह गये मजबूर हो गये