Jawan Ho Mashallah Tum

Ravi, Rajinder Krishnan

खुदरा न यु दिल तोड़ो
लड़क पन की ये ज़िद छोडो
जवा हो मशाल्ला तुम जवा हो
मशाल्ला तुम जवा हो

अगर तुम चाँद से माथे अपनी
जुल्फ लहरा दो तो मेरा दिल दुआ देगा
अगर अपनी कमर को एक जरा हौले से लचका दो
जो मानगो गी ख़ुदा देगा
खुदा ने ही जवानी दी
जवानी का ना हक़ छीना
जवा हो मशाल्ला तुम जवा हो
मशाल्ला तुम जवा हो

सुना तो होगा तुमने ज़िन्दगी एक बार
मिलती है
दोबारा खोल नहीं सकती
जवानी की काली भी उम्र में
एक बार खिलती है
दोबारा खोल नहीं सकती
महोबत के यही दिन है
महोबत को न ठुकराओ
जवा हो मशाल्ला तुम जवा हो
मशाल्ला तुम जवा हो

अगर होठों पे नगमे आ रहे है
रोकती क्यों हो गमे रूठ जायेंगे
कोई दिल लेके पीछे आ रहा है
टोकती क्यों हो
ये मौके फिर न आएंगे
बुलावा मेरी बाहों का
चलो मंजूर भी कर लो
जवा हो मशाल्ला तुम जवा हो
मशाल्ला तुम जवा हो
मशाल्ला तुम जवा हो
मशाल्ला तुम जवा हो
मशाल्ला तुम जवा हो
मशाल्ला तुम जवा हो

Trivia about the song Jawan Ho Mashallah Tum by Mohammed Rafi

Who composed the song “Jawan Ho Mashallah Tum” by Mohammed Rafi?
The song “Jawan Ho Mashallah Tum” by Mohammed Rafi was composed by Ravi, Rajinder Krishnan.

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